हिन्दुस्तान मिरर न्यूज:5 जुलाई 2025
उत्तर प्रदेश :मुहर्रम इस्लामी कैलेंडर का पहला महीना होता है, जिसे गम और बलिदान के महीने के रूप में जाना जाता है। इस्लाम धर्म में इसे बहुत ही पवित्र माना जाता है। खासकर 10वें दिन यानी यौमे आशूरा को इमाम हुसैन और उनके 72 साथियों की शहादत को याद किया जाता है। मुहर्रम के मौके पर देशभर में ताजिये निकाले जाते हैं और कर्बला की याद में जुलूस निकाले जाते हैं।
इस बार मुहर्रम 6 जुलाई 2025 को मनाया जाएगा। इसे लेकर देशभर में खास तैयारियां की गई हैं। दिल्ली से लेकर उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड तक प्रशासन अलर्ट मोड में है। राजधानी दिल्ली में डीसीपी साउथ अंकित चौहान ने बताया कि दो प्रमुख जगहों पर जुलूस निकलेगा। शांति समिति के साथ बैठकें हो चुकी हैं और एक हजार से ज्यादा पुलिसकर्मी जुलूस मार्गों पर तैनात रहेंगे। सोशल मीडिया पर भी नजर रखी जाएगी, किसी भी अफवाह या माहौल बिगाड़ने की कोशिश पर तुरंत कार्रवाई होगी।
वहीं, उत्तर प्रदेश में कांवड़ यात्रा और मुहर्रम दोनों एक ही समय पर पड़ने के कारण प्रशासन की चुनौती और बढ़ गई है। खासकर मुरादाबाद जैसे संवेदनशील इलाकों में CCTV कैमरों से निगरानी की जा रही है। सुरक्षा के मद्देनज़र ताजियों की ऊंचाई 10 फीट तक सीमित कर दी गई है, ताकि किसी तरह की दुर्घटना से बचा जा सके।
देशभर में अमन-चैन बनाए रखने के लिए पुलिस और प्रशासन ने विशेष इंतजाम किए हैं। मुहर्रम का यह दिन सिर्फ एक धार्मिक परंपरा नहीं, बल्कि इंसानियत और सत्य के लिए दी गई कुर्बानी की याद भी है।