हिन्दुस्तान मिरर न्यूज़: 8 मई : 2025,
नई दिल्ली, 8 मई 2025 — भारत-पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के बीच ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक में राष्ट्रीय सुरक्षा, परिचालन तैयारियों और नागरिक सुरक्षा की स्थिति पर गंभीर मंथन हुआ। बैठक में विभिन्न मंत्रालयों और विभागों के सचिवों ने भाग लिया और अपनी-अपनी तैयारियों की जानकारी दी।
संवेदनशील समय में पीएम मोदी का स्पष्ट संदेश: सतर्कता और समन्वय आवश्यक
प्रधानमंत्री मोदी ने देश की वर्तमान स्थिति को “संवेदनशील दौर” करार देते हुए सभी मंत्रालयों से निरंतर सतर्कता, संस्थागत तालमेल और स्पष्ट संचार बनाए रखने की अपील की। उन्होंने कहा कि ऐसी परिस्थितियों में सरकार की नागरिक सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्धता और मजबूत संस्थागत लचीलापन ही देश को सुरक्षित रख सकता है।
सचिवों को दिए स्पष्ट निर्देश
पीएम मोदी ने सभी सचिवों को निर्देश दिया कि वे अपने-अपने मंत्रालयों के कार्यों की व्यापक समीक्षा करें और यह सुनिश्चित करें कि सभी प्रणालियाँ पूर्ण रूप से सुरक्षित और सक्रिय रहें। उन्होंने तत्परता, आपातकालीन प्रतिक्रिया तंत्र और आंतरिक संचार प्रोटोकॉल को मजबूत करने पर विशेष ध्यान देने को कहा।
अंतर-मंत्रालयी समन्वय और स्थानीय संस्थाओं से संपर्क पर बल
प्रधानमंत्री ने बैठक के दौरान अंतर-मंत्रालयी समन्वय की समीक्षा की और यह सुनिश्चित करने को कहा कि मंत्रालय राज्य प्राधिकरणों एवं जमीनी स्तर की संस्थाओं के साथ घनिष्ठ संपर्क बनाए रखें। बैठक में इस बात पर भी ज़ोर दिया गया कि स्थानीय प्रशासनिक इकाइयाँ राष्ट्रीय रणनीतियों के अनुरूप कार्य करें।
गलत सूचनाओं और फर्जी खबरों से निपटने की रणनीति
बैठक में गलत सूचनाओं और फर्जी खबरों के प्रसार को रोकने के लिए तत्काल कार्रवाई की आवश्यकता जताई गई। सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय को विशेष रूप से इस दिशा में सक्रिय भूमिका निभाने को कहा गया है ताकि किसी भी प्रकार की अफवाह या भ्रम को रोका जा सके।
महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे की सुरक्षा
राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसियों को महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे जैसे बिजली, स्वास्थ्य, दूरसंचार और परिवहन नेटवर्क की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने के निर्देश दिए गए। पीएम मोदी ने कहा कि किसी भी संभावित साइबर या भौतिक खतरे से निपटने के लिए पूरी सतर्कता और तत्परता आवश्यक है।
बैठक में शामिल हुए उच्च अधिकारी
इस अहम बैठक में कैबिनेट सचिव, प्रधानमंत्री कार्यालय के वरिष्ठ अधिकारी, तथा रक्षा, गृह, विदेश, सूचना एवं प्रसारण, बिजली, स्वास्थ्य और दूरसंचार मंत्रालयों के शीर्ष अधिकारी उपस्थित रहे। सभी ने संघर्ष के हालात में अपने विभागों की तैयारियों और प्रतिक्रिया योजनाओं की जानकारी साझा की।