हिन्दुस्तान मिरर न्यूज: बुधवार 02 जुलाई 2025
नई दिल्ली – दिल्ली हाई कोर्ट ने संसद सुरक्षा सेंधमारी मामले में आरोपियों नीलम आजाद और महेश कुमावत को जमानत दे दी है। कोर्ट ने उन्हें 50,000 रुपये के निजी मुचलके और समान राशि के दो जमानतदारों पर रिहा करने का आदेश दिया है। हालांकि, कोर्ट ने कुछ कड़ी शर्तें भी लागू की हैं।
हाई कोर्ट की बेंच, जिसमें जस्टिस सुब्रमण्यम प्रसाद और जस्टिस हरीश वैद्यनाथन शंकर शामिल थे, ने यह फैसला निचली अदालत द्वारा जमानत याचिका खारिज किए जाने के बाद सुनवाई में सुनाया। कोर्ट ने स्पष्ट किया कि दोनों आरोपी न तो मीडिया को कोई इंटरव्यू दे सकते हैं और न ही सोशल मीडिया पर घटना से संबंधित कोई पोस्ट कर सकते हैं।
क्या था पूरा मामला?
13 दिसंबर 2023 को संसद पर हुए आतंकवादी हमले की 22वीं बरसी थी। इस दिन संसद की कार्यवाही के दौरान सागर शर्मा और मनोरंजन डी नामक आरोपी दर्शक दीर्घा से कूदकर लोकसभा के वेल में पहुंच गए। उन्होंने वहां पीले रंग के धुएं वाले स्मोक कैन का इस्तेमाल किया और नारेबाजी की। इससे सदन में अफरा-तफरी मच गई।
वहीं, संसद परिसर के बाहर नीलम आजाद और अमोल को विरोध प्रदर्शन करते हुए पकड़ा गया था। इसके बाद पुलिस ने इन सभी को हिरासत में ले लिया था और मामला संसद सुरक्षा भंग करने के गंभीर आरोपों में दर्ज हुआ।
कोर्ट की शर्तें
जमानत देते हुए कोर्ट ने निम्नलिखित शर्तें रखीं:
- आरोपी न तो किसी मीडिया हाउस को इंटरव्यू देंगे,
- न ही सोशल मीडिया पर इस घटना से जुड़ी कोई जानकारी साझा करेंगे,
- अदालत में पेशी के समय समय पर उपस्थित रहेंगे।
गौरतलब है कि यह मामला राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा होने के कारण विशेष रूप से संवेदनशील माना जा रहा है।