• Home
  • Delhi
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 23 से 26 जुलाई के बीच करेंगे ब्रिटेन और मालदीव दौरा
Image

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 23 से 26 जुलाई के बीच करेंगे ब्रिटेन और मालदीव दौरा

हिन्दुस्तान मिरर न्यूज:19 जुलाई 2025

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ब्रिटेन और मालदीव दौरा: व्यापारिक समझौतों और रणनीतिक संबंधों की दिशा में अहम कदम

ब्रिटेन दौरा: ऐतिहासिक FTA पर हस्ताक्षर
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 23 जुलाई से 26 जुलाई तक दो देशों—ब्रिटेन और मालदीव—के दौरे पर रहेंगे। इस बहुप्रतीक्षित यात्रा का उद्देश्य दोनों देशों के साथ द्विपक्षीय संबंधों को मजबूती देना और व्यापारिक सहयोग को नई ऊंचाइयों पर ले जाना है।

23 और 24 जुलाई को प्रधानमंत्री मोदी ब्रिटेन में रहेंगे, जहां भारत और ब्रिटेन के बीच ऐतिहासिक मुक्त व्यापार समझौते (FTA) पर औपचारिक रूप से हस्ताक्षर किए जाएंगे। इस समझौते पर बातचीत जनवरी 2022 में शुरू हुई थी और तीन वर्षों की कठिन वार्ता के बाद इसे अंतिम रूप दिया गया है।

FTA से भारत को मिलने वाले लाभ
आर्थिक थिंक टैंक GTRI के अनुसार, इस FTA से भारत के वस्त्र, परिधान, जूते, कालीन, ऑटोमोबाइल, समुद्री उत्पाद, अंगूर और आम जैसे उत्पादों को ब्रिटेन के बाजार में व्यापक पहुंच मिलेगी। वर्तमान में इन उत्पादों पर ब्रिटेन में मध्यम आयात शुल्क लगता है, जो अब काफी हद तक समाप्त हो जाएगा।

इसके अलावा, ब्रिटेन को होने वाले 99% भारतीय निर्यात पर टैरिफ में कटौती होगी। दूसरी ओर, भारत को व्हिस्की और कारों जैसे ब्रिटिश उत्पादों के लिए बाजार अधिक खुला मिलेगा। मोटर वाहनों के आयात पर शुल्क 100% से घटकर 10% तक किया जाएगा, जिससे ऑटोमोबाइल सेक्टर को भी बड़ा फायदा होगा।

FTA क्या है?
मुक्त व्यापार समझौता (FTA) दो या अधिक देशों के बीच किया गया ऐसा समझौता होता है, जिसमें वे व्यापार से जुड़े शुल्क, प्रतिबंध और शर्तों को कम या समाप्त करने पर सहमति बनाते हैं। यह व्यापार, निवेश और बौद्धिक संपदा के अधिकारों को सुरक्षित करने के साथ-साथ व्यापारिक बाधाओं को कम करने का कार्य करता है।

मालदीव दौरा: तनाव के बीच नई पहल
प्रधानमंत्री मोदी की यात्रा का दूसरा चरण 25 और 26 जुलाई को मालदीव होगा, जहां वे 60वें राष्ट्रीय दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होंगे। राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के आमंत्रण पर हो रही यह यात्रा रणनीतिक रूप से काफी अहम मानी जा रही है।

मुइज्जू के राष्ट्रपति बनने के बाद भारत-मालदीव संबंधों में खटास देखी गई है। उन्होंने चुनाव प्रचार में ‘इंडिया आउट’ अभियान चलाया और राष्ट्रपति बनने के बाद मालदीव से भारतीय सेना की मौजूदगी को समाप्त किया। साथ ही, उनका चीन के प्रति झुकाव भी भारत के लिए चिंता का विषय रहा है। मुइज्जू ने अपने कार्यकाल की शुरुआत में ही चीन की आधिकारिक यात्रा की और भारत को लेकर उनके कुछ मंत्रियों ने विवादास्पद टिप्पणियां भी की थीं।

रणनीतिक दृष्टिकोण से अहम यात्रा
ऐसे समय में जब मालदीव में चीन की प्रभावशीलता बढ़ रही है, प्रधानमंत्री मोदी की यह यात्रा भारत-मालदीव रिश्तों को फिर से स्थिर करने की कोशिश मानी जा रही है। यह भारत की “नेबरहुड फर्स्ट” नीति और हिंद महासागर में रणनीतिक संतुलन को बनाए रखने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हो सकता है।

Releated Posts

UPI : 1 अगस्त से PhonePe, GPay और Paytm पर बदल जाएंगे ये 7 नियम

हिन्दुस्तान मिरर | 19 जुलाई 2025 अगर आप भी PhonePe, Google Pay या Paytm जैसे UPI प्लेटफॉर्म्स पर…

ByByHindustan Mirror NewsJul 19, 2025

मोदी के बयानों पर टीएमसी का पलटवार: कहा– झूठ फैला रहे हैं

हिन्दुस्तान मिरर न्यूज:19 जुलाई 2025 कोलकाता/दुर्गापुर, 19 जुलाई — प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के…

ByByHindustan Mirror NewsJul 19, 2025

अमेरिका में लागू हुआ ‘जीनियस एक्ट’:क्या है जीनियस एक्ट ?

हिन्दुस्तान मिरर न्यूज:19 जुलाई 2025 18 जुलाई 2025 को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ‘जीनियस एक्ट’ (GENIUS Act)…

ByByHindustan Mirror NewsJul 19, 2025

DLF की मायानगरी में भव्य वापसी, ₹900 करोड़ के निवेश से ‘वेस्टपार्क’ प्रोजेक्ट की शुरुआत

हिन्दुस्तान मिरर | 18 जुलाई 2025 नई दिल्ली। देश की अग्रणी रियल एस्टेट कंपनी DLF ने दो दशकों…

ByByHindustan Mirror NewsJul 18, 2025

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top