हिन्दुस्तान मिरर न्यूज:
ओडिशा विधानसभा ने अपने विधायकों के वेतन और भत्तों में ऐतिहासिक बढ़ोतरी करते हुए इसे देश में सबसे अधिक कर दिया है। मंगलवार (09 नवंबर) को सदन में चार संशोधन विधेयक सर्वसम्मति से पारित किए गए, जिनके लागू होने के बाद विधायकों की मासिक सैलरी ₹1.11 लाख से बढ़कर ₹3.45 लाख हो जाएगी। यह बढ़ोतरी तीन गुना से भी अधिक है। नई सैलरी जून 2026 से लागू होगी, यानी विधायकों को प्रभावी वेतन पाने के लिए छह महीने का इंतजार करना होगा।
विधानसभा में पेश किए गए प्रस्ताव के अनुसार बढ़ोतरी को विधायकों की मौजूदा जिम्मेदारियों और कार्यभार के अनुरूप आवश्यक बताया गया है। संशोधित वेतन के साथ, मुख्यमंत्री, मंत्री, स्पीकर और अन्य पदाधिकारियों की सैलरी भी तीन गुना बढ़ जाएगी। इन संशोधनों में यह भी प्रावधान किया गया है कि भविष्य में सैलरी बढ़ाने के लिए अध्यादेश के माध्यम से निर्णय लिया जा सकेगा।
इसके अलावा विधेयक में कई महत्वपूर्ण लाभ भी जोड़े गए हैं। किसी मौजूदा विधायक की मृत्यु होने पर उसके परिवार को अब 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने का प्रावधान किया गया है। साथ ही हर पांच वर्ष में वेतन और भत्तों की समीक्षा कर उन्हें बढ़ाने का विकल्प भी शामिल किया गया है।
नया सैलरी स्ट्रक्चर (मासिक)
- वेतन: ₹90,000
- क्षेत्रीय/सचिवीय भत्ता: ₹75,000
- कन्वेंशन (यातायात) भत्ता: ₹50,000
- पुस्तक व पत्रिका भत्ता: ₹10,000
- बिजली भत्ता: ₹20,000
- नियत यात्रा भत्ता: ₹50,000
- चिकित्सा भत्ता: ₹35,000
- टेलीफोन भत्ता: ₹15,000
अन्य राज्यों की तुलना
ओडिशा के बाद सबसे अधिक वेतन महाराष्ट्र में मिलता है, जहां विधायक को लगभग ₹2.60 लाख मासिक वेतन दिया जाता है। तेलंगाना में यह राशि लगभग ₹2.50 लाख है। कई राज्यों में यह वेतन 1 लाख से 2 लाख रुपये के बीच है, लेकिन ओडिशा में प्रस्तावित ₹3.45 लाख प्रति माह देश में सबसे अधिक होगा।













