हिन्दुस्तान मिरर न्यूज़ ✑ 21 मई : 2025
नोएडा, 21 मई 2025 – नोएडा के सेक्टर-53 स्थित कंचनजंगा मार्केट के पीछे बने सेंट्रल पार्क में मंगलवार को एक दर्दनाक और चिंताजनक हादसा सामने आया। खेल-खेल में एक 7 वर्षीय मासूम बच्ची की उंगलियां पार्क की एक लोहे की बेंच में लगे मेटल शीट के छेदों में फंस गईं। यह घटना दोपहर के समय हुई, जब बच्ची पार्क में खेल रही थी और उसने अनजाने में अपनी उंगलियां मेटल शीट के छोटे-छोटे गोल छेदों में डाल दीं। छेदों का आकार और मेटल की बनावट ऐसी थी कि बच्ची की उंगलियां अंदर तो चली गईं, लेकिन वापस निकालना नामुमकिन हो गया।
बच्ची की चीख-पुकार सुनकर पार्क में मौजूद लोग मदद के लिए दौड़े। कई लोगों ने मिलकर उंगलियों को बाहर निकालने की भरपूर कोशिश की, लेकिन कोई सफलता नहीं मिली। बच्ची लगातार दर्द से कराह रही थी, जिससे स्थिति और भी गंभीर हो गई। अंततः मौजूद लोगों ने समझदारी दिखाते हुए पुलिस और फायर ब्रिगेड को सूचित किया।
घटना की सूचना मिलते ही कुछ ही देर में फायर ब्रिगेड और स्थानीय पुलिस की टीमें मौके पर पहुंच गईं और रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया गया। फायर ब्रिगेड ने शुरू में बेंच के चारों ओर से मेटल को काटने का प्रयास किया। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए आयरन वर्क विशेषज्ञों को भी बुलाया गया, जो अपने आधुनिक औजारों के साथ मौके पर पहुंचे।
विशेषज्ञों की टीम ने बड़ी सावधानी और रणनीति से मेटल शीट को काटना शुरू किया, ताकि बच्ची की उंगलियों को किसी भी प्रकार की चोट न पहुंचे। गर्मी, शोर और अत्यधिक तनावपूर्ण माहौल के बीच टीम ने लगभग 6 घंटे की कठिन मशक्कत के बाद आखिरकार बच्ची की उंगलियों को सुरक्षित बाहर निकालने में सफलता हासिल की।
रेस्क्यू ऑपरेशन के तुरंत बाद बच्ची को पास के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद डॉक्टरों ने बताया कि उसकी स्थिति अब पूरी तरह स्थिर है। उंगलियों में सूजन और हल्की चोटों के अलावा कोई गंभीर नुकसान नहीं हुआ है। बच्ची को उपचार के बाद सकुशल उसके परिवार को सौंप दिया गया।
इस घटना ने एक बार फिर सार्वजनिक स्थलों की सुरक्षा को लेकर नगर प्रशासन और पार्क प्रबंधन की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं। पार्क की बेंच में लगे मेटल शीट में इस तरह के खतरनाक छेद क्यों थे? क्या पार्क के उपकरणों की समय-समय पर सुरक्षा जांच की जाती है? इन सवालों पर अब स्थानीय प्रशासन को जवाब देना होगा।
स्थानीय नागरिकों का कहना है कि पार्कों में बच्चों के खेलने के लिए बनाए गए उपकरणों की गुणवत्ता और सुरक्षा मानकों की गंभीरता से समीक्षा की जानी चाहिए, ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाएं दोबारा न हों।